विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस पर रंगकर्मियों ने किया संदेश मूलक नाटक का मंचन।


विश्व मानसिक दिवस पर मानसिक स्वास्थ्य को लेकर जागरूकता नाटक 
मानसिक रोग की जागरूकता को लेकर नाटक प्रस्तुत करते 


सिंहेश्वर मधेपुरा 

जिला मुख्यालय के सदर अस्पताल के ओपीडी परिसर में दस अक्टूबर को विश्व मानसिक दिवस पर मानसिक स्वास्थ्य से संबंधित परामर्श जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया। जिसका उद्घाटन डा. अब्दुस सलाम, एसीएमओ डा. रंजना कुमारी, एनसीडीओ डा. मुकेश कुमार सिंह, डीभीडीसीओ डा. सचिन कुमार ने संयुक्त रूप से दीप प्रचलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। मौके पर गैर संचारी रोग पदाधिकारी डा. रंजना कुमारी ने बताया कि इस बार के थीम मेंटल हेल्थ ईन ए युनिवर्सल हुमेन राईट के तहत मनाया जा रहा है। उन्होंने कहा कब मानसिक चिकित्सक से सहायता लेनी चाहिए। स्पष्ट रूप से सोचने और दैनिक कार्यकलापों को करने में कठिनाई होना, बार-बार नकारात्मक विचारों को आना, आदत मन इच्छा और एकाग्रता को अचानक परिवर्तन का होना। वैसी चीजों को देखना और सुना जो आसपास मौजूद नहीं होना, आत्महत्या का विचार आना आत्मा आत्महत्या करने का प्रयास करना, क्रोध भाई चिंता अपराध बोल उदासी या खुशी की लागत अनुभूति, बिना चिकित्सालय का औषधि का अंत्यधिक सेवन करना आदि इन सभी लक्षणों में दिखाई देने पर बिना किसी देरी किए हुए नजदीक स्वास्थ्य संस्थान में मनो चिकित्सा से दिखाकर आवश्यक परामर्श लेना सुनिश्चित करना चाहिए। जिससे मानसिक रोग से बचा जा सके। कार्यक्रम में सृजन दर्पण के सचिव सह युवा रंगकर्मी विकास कुमार के द्वारा लिखित और निर्देशित 'जीवन चेतना' नामक नुक्कड़ नाटक का मंचन किया गया। गीत, नृत्य और लघु नाटिका के जरिए  जन मानस को जागरूक करने का रंगकर्मियों ने प्रयास किया कि कैसे बच्चों सहित युवाओं में युवावस्था की परेशानियों से होने वाले डिप्रेशन के कारण, आत्महत्या करने और उनसे परिवारों को होने वाली समस्याओं का चित्रण करते हुए आम लोगों को किसी भी प्रकार की समस्या होने पर जिला अस्पताल में स्थित स्पर्श क्लीनिक में उपचार कराने की सलाह दिया । इसमें मुख्य किरदार रंगकर्मी विकास कुमार, रंजीत कुमार, सौरभ कुमार, भावेश कुमार, संध्या यादव, निशा कुमारी, शिवानी कुमारी, रेशम कुमारी, सृष्टि कुमारी और मौसम कुमारी ने अपने संदेश मूलक मंचन से जागरूक करने कि कोशिश किया। कलाकारों ने जीवंत प्रस्तुति से बताया कि लोगों के जीवन में तेजी से बढ़ते मानसिक विकार वैश्विक स्वास्थ्य के लिए बड़ा जोखिम हैं। बदलते समय के साथ इसका खतरा और भी बढ़ता जा रहा है। मंचन से जुड़े संवाद के जरिए यह भी कहा कि 15 साल से कम आयु वाले बच्चे भी इसके शिकार होते जा रहे हैं। उनके जीवन की लाइफस्टाइल-आहार में गड़बड़ी को इन विकारों का प्रमुख कारण बताया है। कुछ पर्यावरणीय और सामाजिक व परिवारिक परिस्थितियां भी जोखिमों को बढ़ाने वाली हो सकती हैं। रंगकर्मियों ने कार्यक्रम में मौजूद दर्शकों को अपने मन को स्वस्थ रखने के लिए निरंतर प्रयास करते रहने की अपिल भी की। इस अवसर पर जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डा. विपिन कुमार, डा. शशि कुमार, डा. संजय कुमार, डा. प्राची आनंद,  अमन, डीटीओ, डीपीएम, प्रिंस, डीपीसी संजीव कुमार, बीएचएम नवनीत चंद्रा, विमल कुमार, एएनएम संध्या कुमारी, पंकज कुमार, दीपक कुमार सहित  सभी हेल्थ कर्मी मौजूद थे

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